कब तक छुपाते साहब भर्रेशाही,अब जमाना डिजिटल हो गया है...!
मेडिकल कालेज प्रबंधन की खुली पोल, मरीज का वीडियो हुआ वायरल....!
जबरजस्ती होम आइसोलेट किये जा रहे मेडिकल कालेज से संक्रमित पेशेंट: आरोप
मेडिकल कालेज में नही मास्क, मरीज ने मांगा तो कहा घर से मँगाओ....!
इंट्रो: लंबे समय से शहडोल मेडिकल कॉलेज में मनमानी एवं भर्रेशाही की शिकायत आ रही थी पर इन शिकायतों को मेडिकल कॉलेज की चार दीवारों में ही दबा दिया जाता था। किंतु इस बार एक कोरोना संक्रमित मरीज ने वीडियो वायरल कर मेडिकल कॉलेज के डीन एवं प्रबंधन के अन्य अधिकारियों के दावों की पोल खोल दी है,जिसके बाद से अधिकारियों ने अपना फोन उठाना बंद कर दिया है वंही संक्रमित मरीज ने 11 मिनट के वीडियो मे सारे दावों और भ्रष्टाचार की पोल खोल कर रख दी है।
शहडोल( कोबरा) : मेडिकल कॉलेज शहडोल में किस कदर भ्रष्टाचार एवं अनियमितताओं का आलम व्याप्त है यह एक कोरोना संक्रमित मरीज ने अपने अनुभवों को सोशल मीडिया के माध्यम से साझा कर जगजाहिर कर दिया है हालांकि हमारी टीम वायरल वीडियो की पुष्टि नहीं करती है। प्रबंधन मरीज को 1 मास्क तक उपलब्ध नहीं करा पा रहा है तो वंही कोरोना संक्रमित बुजुर्ग से कर्मचारियों द्वारा अभद्र व्यवहार करते हुए जबरन घोषणा पत्र साइन कराकर होम आइसोलेट करने का प्रयास किया जा रहा है। सवाल यह भी उठता है कि यह गलती अकेले कर्मचारियों की तो संभव नहीं है कहीं ना कहीं प्रबंधन भी इन सब चीजों के लिए जिम्मेदार है। वही इस संबंध में जानकारी के लिए जब मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ मिलिंद सिलारकर को दूरभाष में संपर्क साधने का प्रयास किया गया तो उन्होंने फोन उठाना भी लाजमी नहीं समझा। सायद यह फोन कोई इमरजेंसी काल भी हो सकता था। यही नही साहब ने तो काल बैक अथवा अन्य रिस्पॉन्स तक नही दिया। इससे साहब की सक्रियता का अंदाजा लगाया जा सकता है।
अब राजधानी तक पहुचेगा मामला...
शहडोल मेडिकल कॉलेज को लेकर समस्याओं के स्वर कई बार मुखर हुए हैं। पर बात लोकल स्तर पर ही दबा दी गई है,सूत्रों की माने तो मामला चाहे 35 हजार के इंजेक्शन का हो या फिर संक्रमित मरीजो के साथ दुर्व्यवहार अथवा लापरवाही का साक्ष्य मिटाने में प्रबंधन ने कोई कसर नही छोड़ी। किन्तु इस बार कोरोना संक्रमण के खतरे को मद्देनजर बतौर चौथे स्तम्भ हमारी टीम ने मामला प्रदेश के जिम्मेदारों तक पहुचाने का जिम्मा उठाया है।

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