55 हजार रुपये हफ्ते में वसमी के थाना मैनेजमेंट की चर्चा थी आम
शहडोल /अनूपपुर। शहडोल-अनूपपुर जिले की सीमा चचाई थाना इन दोनों अपराधिक प्रवृत्ति के लोगों के लिए सोने की खदान बन गई है जहां हर अवैध काम को हरी झंडी थाना प्रभारी स्वयं दिखाते हैं यह हम नहीं कहते यह कहते हैं वहां के स्थानीय लोग बताया जाता है कि इस संबंध में स्थानीय जनप्रतिनिधियों ने आवाज भी बुलंद की पर खैर कहावत पुरानी है नोट के आगे वोट नहीं चलते तो नेता की क्या चलेगी। हम बात कर रहे हैं चचाई थाना क्षेत्र अंतर्गत गीताग्राम में बड़े पैमाने पर संचालित हो रहे जुआ फड़ मामा के ठिकाने की जहा प्रतिदिन लाखों की नाल वसूली की जाती है कथित मामा अपने गुर्गाे को तैनात कर बड़े पैमाने में जुआ फड़ का संचालन करता है और सब कुछ जानते हुए भी चचाई पुलिस अंजान बनती बताई जाती है।
कौन कौन है फड़ संचालक
बताया जाता है की फड़ का संचालन मुख्य रूप से अमलाई निवासी संजय मामा नामक व्यक्ति द्वारा किया जाता है और इसके टीम में फेमी, हरी और धनपुरी निवासी लवली चतुरा और इलू शामिल है, इसके अलावा रुपये 500 प्रतिदिन के दिहाड़ी से लगभग दो दर्जन युवक इनके निगहबानी में तैनात रहते हैं। बताया जाता है कि गीता ग्राम जो की चचाई थाना क्षेत्र अंतर्गत आता है में प्रतिदिन दोपहर 2 से 2ः30 बजे के बीच फड़ का संचालन प्रारंभ होता है फड़ का यह खेल शाम 7 से 8 बजे तक चलता है जहां करोड़ों के दाव लगाते हैं और लाखों की नाल वसूली कथित संजय मामा और वस्मी करते हैं।
अंतराज्यीय जुआ फड़
प्राप्त जानकारी के अनुसार गीताग्राम चचाई में संचालित जुआ फड़ में मध्य प्रदेश की सीमा से लगे 5 जिलों के अलावा छत्तीसगढ़ के मनेंद्रगढ़, बैकुंठपुर, पेंड्रा, अंबिकापुर तक के जुआरी अपनी किस्मत आजमाने शिरकत करते हैं, सूत्रों के अनुसार प्रतिदिन 8 से 9 खिलाड़ी छत्तीसगढ़ प्रदेश से तो शेष खिलाड़ी मध्य प्रदेश के शहडोल अनूपपुर कटनी बड़वारा आदि जिलों से शिरकत करते हैं, तो इन जुआरियों को जो बाहरी जिलों से और प्रदेश से आते हैं उन्हें पिकअप और ड्रॉप की सुविधा भी कथित जुआफड़ संचालकों द्वारा उपलब्ध कराई जाती है।
मैनेजमेंट नहीं तो बाहरी जुआरी नहीं
जुआ फड़ संचालक की मौखिक वचनबद्धता के आधार पर की स्थानीय पुलिस छापा नहीं मारेगी और उसे किसी प्रकार का लूटपाट का सामना नहीं करना पड़ेगा के आश्वासन में ही बाहर के नामचीन जुआरी किसी जुआ फड़ में शिरकत करते हैं, सूत्रों के अनुसार कथित संजय मामा वास्मी इन कथित जुआरी को 55 हजार रुपए हफ्ते में थानामैनेजमेंट का दंभ भर कर अपनी महफिल में बुलाते हैं और यह काम महिनों से चल रहा है बिना रोक-टोक के और सब कुछ जानते हुए भी स्थानीय पुलिस अनजान बताई जाती है खैर बताई भी क्यों न जाए कागज वाले गांधी बाबा का तो हर कोई मुरीद है।
अनूपपुर पुलिस की साख पर बट्टा
अनूपपुर जिले की कमान जब से पुलिस कप्तान जितेंद्र सिंह ने संभाली है तब से कई बड़ी कार्यवाहियों को अंजाम दिया गया है साथ ही जिले में सुशासन की स्थिति कायम करने में भी कप्तान सफल रहे हैं, किंतु कहावत है की धुंआ तभी निकलता है जब कहीं आग लगी हो ऐसे में चचाई थाना क्षेत्र में इतने थाना प्रभारी रहे किंतु वर्तमान थाना प्रभारी से ही स्थानीय जनप्रतिनिधियों और नेताओं को समस्या होना और गंभीर आरोप अपराधिक संरक्षण जैसे आरोपों का सामना प्रभारी को करना पड़े यह कहीं ना कहीं अनूपपुर पुलिस की साख पर बट्टा का काम कर रहा है, और ऐसे में उल्लेखित जुआ फड़़ आग में घी का काम कर रहा है अब देखना यह होगा कि जिले के आला अधिकारी अपनी साख बचाने क्या कदम उठाते हैं।
इनका कहना है
जानकारी आपके माध्यम से संज्ञान में आई है हम दिखवाते हैं।
इसरार मंसूरी
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक, अनूपपुर
(इस संबंध में थाना प्रभारी चचाई को दो दिनों से संपर्क करने का प्रयास किया जा रहा है लेकिन कॉल देखते हुए भी प्रभारी ने कॉल उठाना वाजिब नहीं समझा संभव है कि उनके पास देने को जवाब ही न हो।)
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